Lucknow-Kanpur Expressway: उत्तर प्रदेश के दो प्रमुख शहरों लखनऊ और कानपुर को जोड़ने वाला लखनऊ-कानपुर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे जून 2025 तक पूरी तरह ऑपरेशनल हो जाएगा. यह ₹4,700 करोड़ की लागत से बन रहा 8-लेन का हाईवे यात्रियों के लिए सफर का समय 3 घंटे से घटाकर महज 35-45 मिनट कर देगा. एनएचएआई के मुताबिक, अब तक 80% कंस्ट्रक्शन काम पूरा हो चुका है और बचे हुए हिस्से पर तेजी से काम चल रहा है. आइए जानते हैं इस प्रोजेक्ट की खासियतें और लेटेस्ट अपडेट्स.

Lucknow-Kanpur Expressway का ओवरव्यू
लखनऊ के शहीद पथ से शुरू होकर कानपुर के नवाबगंज तक बन रहे इस 91 किमी लंबे एक्सप्रेसवे में 18 किमी एलिवेटेड सेक्शन शामिल है. यह हाईवे लखनऊ रिंग रोड और आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे जैसे प्रमुख मार्गों से जुड़ेगा. एनएचएआई प्रोजेक्ट डायरेक्टर सौरभ चौरसिया के अनुसार, इसका ट्रैफिक कैपेसिटी प्रतिदिन 1.25 लाख वाहनों तक होगा.
एक्सप्रेसवे की खास विशेषताएं
Lucknow-Kanpur Expressway पर वाहन 120 किमी/घंटा की अधिकतम स्पीड से दौड़ सकेंगे. भारत में पहली बार 3D ऑटोमैटिक मशीन-गाइडेड कंस्ट्रक्शन और AIMC टेक्नोलॉजी (GPS मोटर ग्रेडर, इंटेलिजेंट कंपैक्टर) का उपयोग किया गया है. सुरक्षा के लिए पूरे रूट पर CCTV कैमरे, ANPR सिस्टम और इमर्जेंसी रिस्पॉन्स यूनिट तैनात की जाएंगी. पर्यावरण संरक्षण को ध्यान में रखते हुए कंस्ट्रक्शन में ईंटों की जगह रिसाइकिल्ड मटीरियल का इस्तेमाल किया गया है.
कंस्ट्रक्शन की लेटेस्ट प्रोग्रेस
एनएचएआई के अनुसार, प्रोजेक्ट का पहला चरण (लखनऊ से बंथरा) पूरा हो चुका है. दूसरे चरण (बंथरा से नवाबगंज) में 65% काम पूरा हुआ है. एलिवेटेड सेक्शन पर 9.14 किमी लंबा पुल और 38 अंडरपास बनाए जा रहे हैं. कुछ हिस्सों में अभी लैंड अक्वायरमेंट और पेड़ों का ट्रांसप्लांटेशन बाकी है.
यात्रियों को फायदे
इस एक्सप्रेसवे से ट्रक और कमर्शियल व्हीकल्स का समय बचने से ईंधन खर्च में 30% तक की बचत होगी. कानपुर से लखनऊ एयरपोर्ट पहुंचने में लगने वाला समय 1 घंटे से कम रह जाएगा. पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए बिठूर, साँची स्टूपा और इमामबाड़ा जैसे स्थलों तक पहुंच आसान होगी.